उत्तराखंड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग (UKSSSC) के पेपर लीक मामले में अब छात्रों को भी मुल्जिम बनाने की तैयारी है। एसटीएफ ऐसे 50 छात्रों की तस्दीक कर चुकी है, जिन्होंने पेपर खरीदा और नकल कर पास हुए।
इनकी संख्या भविष्य में बढ़ भी सकती है। डीजीपी अशोक कुमार ने इस मामले में कुछ जनप्रतिनिधियों की मिलीभगत से भी इनकार नहीं किया है। उनका कहना है कि सुबूत मिलने के बाद उनके खिलाफ भी कार्रवाई की जाएगी।
बृहस्पतिवार को डीजीपी अशोक कुमार ने प्रेसवार्ता कर पेपर लीक मामले में एसटीएफ की अब तक की जांच और कार्रवाई की जानकारी दी। उन्होंने बताया कि दिसंबर 2021 में हुई इस परीक्षा में गड़बड़ी की शिकायत पर 22 जुलाई 2022 को मुकदमा दर्ज हुआ था।
अब तक सरकारी कर्मचारियों और एक अभ्यर्थी सहित 15 लोग गिरफ्तार हो चुके हैं। परीक्षा कराने वाली आउटसोर्स कंपनी के कुछ कर्मचारियों की संलिप्तता का पता चला है। उन्हें गिरफ्तार भी किया जा चुका है।
डीजीपी ने कहा कि अभी जांच जारी है और बहुत सी गिरफ्तारियां होनी बाकी हैं। आशंका है कि सैकड़ों छात्रों ने परीक्षा में नकल की है।
अब तक 50 की तस्दीक हो चुकी है। इनकी परीक्षा को रद्द कराने के लिए आयोग को लिखा जाएगा। इसके बाद सभी को मुकदमे में मुल्जिम बनाया जाएगा। राजनीतिक लोगों की मिलीभगत के सवाल पर डीजीपी ने इससे इनकार नहीं किया।
उन्होंने कहा कि जिन लोगों के नाम सामने आए हैं, उनके बारे में जानकारी जुटाई जा रही है। पेपर खरीदने के लिए उन्होंने किससे संपर्क किया और कौन लोग उनके संपर्क में थे, इन सबके सुबूत मिलने के बाद कार्रवाई की जाएगी।