आज बुधवार को आर्मी की मधुर बैंड धुनों के साथ चतुर्थ केदार रुद्रनाथ की उत्सव डोली उच्च हिमालय क्षेत्र में स्थित अपने मंदिर के लिए रवाना हो गई है। डोली आज ल्वींठी बुग्याल में ही रात्रि प्रवास पर रहेगी। 18 मई को डोली पनार बुग्याल में और 19 को मंदिर में पहुंचेंगी। जिसके बाद 20 मई को ब्रह्ममुहुर्त में रुद्रनाथ मंदिर के कपाट श्रद्धालुओं के लिए खोल दिए जाएंगे।
15 मई को गोपीनाथ मंदिर के गर्भगृह से लाकर रुद्रनाथ जी की प्रतिमा को मंदिर परिसर में रखा गया था। दो दिनों तक श्रद्धालुओं ने रुद्रनाथ भगवान के दर्शन किए। बुधवार को सुबह से ही गोपीनाथ और रुद्रनाथ की विशेष पूजाएं आयोजित हुई। सुबह साढे़ नौ बजे रुद्रनाथ की डोली ने अपने मंदिर के लिए प्रस्थान किया।
इस दौरान भक्तों के बम-बम भोले के जयकारों से गोपेश्वर गुंजायमान रहा। डोली को इस बार हक-हकूकधारी गंगोलगांव के भक्तगण अपने कंधे पर लेकर गए। पहली बार रुद्रनाथ की डोली की अगुवाई आर्मी बैंड धुनों ने की। इस मौके पर पंडित जनार्दन प्रसाद तिवारी, हरीश भट्ट आदि मौजूद रहे।