अंकिता हत्याकांड में अभियोजन पक्ष की ओर से कोटद्वार न्यायिक मजिस्ट्रेट भावना पांडे की कोर्ट में 500 पन्नों की चार्जशीट दाखिल कर दी गई है। इसमें 100 गवाहों के नाम और 30 से ज्यादा दस्तावेजी साक्ष्य शामिल हैं।
मामले में अगली सुनवाई 22 दिसंबर को होगी, जिसमें कोर्ट चार्जशीट का संज्ञान लेगी और नार्को टेस्ट की अनुमति के बारे में भी विचार होगा।
नियमानुसार पुलिस के पास चार्जशीट दाखिल करने के लिए 90 दिन का समय था। इससे पहले ही 86 दिन की विवेचना में 100 गवाहों के बयान दर्ज किए थे। मुख्य गवाहों के मजिस्ट्रेटी बयान भी दर्ज कराए गए हैं। फोरेंसिक जांच रिपोर्ट, पोस्टमार्टम रिपोर्ट, इलेक्ट्रॉनिक साक्ष्यों को चार्जशीट में शामिल किया गया है। सुनवाई के बाद सप्लीमेंट्री चार्जशीट अलग से दाखिल की जाएगी।
यह था मामला :
18 सितंबर की रात को वनंत्रा रिजॉर्ट के मालिक पुलकित आर्य ने राजस्व पुलिस चौकी में अपनी कर्मचारी अंकिता भंडारी के गुमशुदा होने की शिकायत दी थी। करीब तीन दिनों तक इस मामले की ढिलाई से जांच की गई।
मामला जब रेगुलर पुलिस के पास पहुंचा तो पुलिस ने पुलकित आर्य, मैनेजर सौरभ भास्कर और अंकित से सख्ती से पूछताछ की तो उनसे पता चला कि पुलकित और अंकिता के बीच झगड़ा हुआ था और ऋषिकेश से लौटते वक्त अंकिता और पुलकित के बीच नहर किनारे फिर से विवाद हुआ और इस बीच पुलकित ने अंकिता को नहर में धक्का दे दिया था।
जिसके बाद पुलिस ने 22 सितंबर को पुलकित, अंकित और सौरभ को गिरफ्तार कर लिया था।
गवाहों के नाम :
1.रिजॉर्ट के कर्मचारी
2.अंकिता का पोस्टमार्टम करने वाले एम्स के डॉक्टर
3.डीएनए जांच करने वाले फोरेंसिक एक्सपर्ट
4.केंद्रीय एफएसएल के फोरेंसिक डॉक्टर
5.मुकदमे के वादी अंकिता के पिता
6.विवेचना करने वाले पुलिस अधिकारी
दस्तावेज और वस्तु साक्ष्य
1.अंकिता की पोस्टमार्टम रिपोर्ट
2.स्वैब की डीएनए रिपोर्ट
3.मोबाइल की फोरेंसिक रिपोर्ट
4.अंकिता के कपड़े
5.तीनों आरोपियों के मोबाइल
6.पुष्प और अंकिता की चैट
एसआईटी अंकिता का मोबाइल बरामद नहीं कर पाई है। न ही पुलकित का मुख्य मोबाइल पुलिस के हाथ आया है। इस मामले में पुलकित के एक मोबाइल और अन्य दो आरोपियों के मोबाइल की केंद्रीय फोरेंसिक जांच कराई गई है। इन सभी की रिपोर्ट चार्जशीट में शामिल की गई है।