आईएमएफ चीफ के साथ बातचीत के दौरान वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने वर्तमान में रूस-यूक्रेन युद्ध के कारण बने भू-राजनैतिक हालातों पर गहन चर्चा की। इसमें वैश्विक अर्थव्यवस्था पर इसके प्रभाव और ईंधन व बिजली की कीमतों में तेज इजाफा प्रमुख मुद्दे रहे। इस दौरान आईएमएफ चीफ ने अच्छी तरह से लक्षित भारतीय नीति का उल्लेख किया, जिसने देश की अर्थव्यवस्था को सीमित वित्तीय साधनों के साथ भी लचीला रहने में मदद की है।
आईएमएफ की बैठक के दौरान वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने क्रिप्टोकरेंसी के खतरे के प्रति भी दुनिया के सभी देशों को चेताया। उन्होंने कहा है कि क्रिप्टोकरेंसी का सबसे बड़ा जोखिम ये है कि इसका उपयोग मनी लॉन्ड्रिंग और आतंक के वित्तपोषण यानी टेरर फंडिंग में किया जा सकता है। सभी देशों को चेताते हुए उन्होंने कहा कि क्रिप्टोकरेंसी के जोखिम को कम करने के लिए तकनीाक के इस्तेमाल के साथ सख्त नियम-कानून बनाना एकमात्र तरीका है।
आईएमएफ ने भारत की तारीफ
इस दौरान आईएमएफ ने भारती की आर्थिक नीतियों की जमकर सराहना की। क्रिस्टीना जॉर्जीवा ने ने कहा कि श्रीलंका में उपजे इतिहास के सबसे बड़े आर्थिक संकट से निपटने में भारत की ओर से की जा रही मदद काबिले-तारीफ है। जॉर्जीवा ने ये टिप्पणी वाशिंगटन डीसी में सीतारमण के साथ आईएमएफ-विश्व बैंक (डब्ल्यूबी) की स्प्रिंग मीटिंग के दौरान की।